रायपुर पश्चिम विधानसभा से भाजपा कार्यकर्ताओं ने आशु चंद्रवंशी को आगे किया।जन्मदिन के बहाने पूरे क्षेत्र में पोस्टर वार...चर्चा का बाजार गर्म

रायपुर पश्चिम विधानसभा से भाजपा कार्यकर्ताओं ने आशु चंद्रवंशी को आगे किया।जन्मदिन के बहाने पूरे क्षेत्र में पोस्टर वार...चर्चा का बाजार गर्म

रायपुर(छत्तीसगढ़)। छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव 2023 के लिए जैसे ही चुनावी वर्ष की शुरुआत हुई वैसे वैसे भाजपा के दावेदारों के नाम भी स्पष्ट होते जा रहे हैं रायपुर पश्चिम विधानसभा क्षेत्र उसी में से एक ऐसा विधानसभा क्षेत्र है जहां 15 वर्षों तक भाजपा के कद्दावर मंत्री रहे राजेश मूणत विधायक रहे, जिन्हें पिछली विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के लोकप्रिय युवा नेता विकास उपाध्याय ने पटकनी  देकर परास्त कर दिया, ऐसे में कयास लगते रहे हैं कि राजेश मूणत को अब चुनाव में भाग लेने का मौका नहीं मिलेगा। इस स्थिति में क्या भाजपा से आशु चंद्रवंशी जो कि युवाओं के बीच लोकप्रिय के साथ-साथ भाजपा कार्यकर्ताओं के भी पहली पसंद हैं, तो क्या मूणत के उत्तराधिकारी के तौर पर आशु का चुनाव लड़ना तय हो गया है।इस बात के संकेत आज तब और मिले जब भाजपा के कार्यकर्ताओं ने आशु चंद्रवंशी के जन्मदिन के बहाने पूरे विधानसभा को पोस्टर से पाट दिया।

छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकार को वैसे तो चुनौती दे पाना अभी तक भाजपा के लिए टेढ़ी खीर ही साबित हुई है,वह इसलिए कि भाजपा के जिन पुराने चेहरों के बदौलत सरकार के खिलाफ अभियान चलाई जा रही है,उन चेहरों को छत्तीसगढ़ की जनता पूरी तरह से स्वीकार नहीं कर पा रही है।इसी पेसोपेश में भाजपा का शीर्ष नेतृत्व कई दफे महत्वपूर्ण जिम्मेदारियों में फेरबदल कर इस कमी को पूरा करने की कोशिश भी की है परंतु छत्तीसगढ़ की मीडिया भाजपा के उन नेताओं की बातों उस हिसाब से तबज्जो नहीं दिया और न ही ये नेता खुल कर ऐसा कोई मुद्दा उठा सके जितना कि कांग्रेस के प्रवक्ताओं ने उठाया है।इन परिस्थितियों में बताया जा रहा है कि भाजपा आगामी विधानसभा चुनाव में कांग्रेस से दो चार करने पूरे 90 के 90 विधानसभा में सर्जरी कर नए नेतृत्व की जुगत में लग गई है। 

छत्तीसगढ़ में बदली राजनीतिक इन परिस्थितियों में भाजपा अपने नए उम्मीदवारों की तलाश शुरू कर दी है। सूत्रों की माने तो 50 प्रतिशत विधानसभा के लिए ऐसे नामों का पैनल भी दिल्ली जा चुका है और उन नामों के व्यक्तियों के कार्यों का मूल्यांकन किया जा रहा है।जिनके नाम भेजे गए हैं,वे अपनी सक्रियता भी उसी हिसाब से बढ़ा रहे हैं। रायपुर के पश्चिम विधानसभा की बात करें तो पूर्व मंत्री राजेश मूणत से कहीं ज्यादा उनके करीबी आशु चंद्रवंशी की सक्रियता स्वाभाविक रूप से दिखाई देती है।चाहे बिजली बिल में वृद्धि की बात हो या फिर अन्य मुद्दा सबसे पहले आशु चंद्रवंशी की एंट्री होती है।

भाजपा के कार्यकर्ताओं की फौज यदि किसी के पीछे दिखाई देती है तो वह आशु के लिए। ऐसे में यह भी सवाल खड़ा होता है कि क्या राजेश मूणत ने आशु को अपना उत्तराधिकारी चुन लिया है और पर्दे के पीछे से आगे कर चुनावी समर में उतारने अपना समर्थन दे रहे हैं।यह काफी हद तक सही भी लगती है।हालांकि संगठन में आज भी मूणत की मजबूत पकड़ को देखते हुए लगता है कि उन्हें अन्य किसी विधानसभा के लिए विचार किया जा सकता है और कहीं पार्टी नए चेहरों पर ही दांव खेलती है तो उन्हें इस बार चुनाव से वंचित होना ही पड़ेगा।

आज के दिन आशु चंद्रवंशी की चर्चा पक्ष और विपक्ष में इसलिए भी हो रही है कि 21 दिसंबर को उनके जन्मदिन को जिस तरह से भाजपा के कार्यकर्ताओं ने सेलिब्रेट किया है,उतना तो मूणत का भी नहीं हुआ था।एक तरह से भाजपा कार्यकर्ताओं ने जन्मदिन के बहाने आशु चंद्रवंशी के नाम को आगे कर दिया है कि देखिए इसे ही उम्मीदवार बनाना है। पूरे पश्चिम विधानसभा के कोने कोने से लेकर शहर के मुख्य मार्ग में जहाँ तक नजर जाए आशु को बधाई देते संदेश के होर्डिंग्स और कट आउट लगे नजर आ रहा है।

इतना ही नहीं इसमें अपील करने वाले भी ऐसे भाजपा के सामान्य कार्यकर्ता हैं जो चुनाव में जमीनी स्तर पर काम करते नजर आते हैं।इसमें महत्वपूर्ण एक बात और जो नजर आई कॉलेज के विद्यार्थी भी बड़े बडे पोस्टर और होर्डिंग्स लगा कर अपना समर्थन देते नजर आ रहे हैं।अब देखना होगा कि आशु चंद्रवंशी अपने खुद के लिए बने परिस्थितियों को किस तरह से पश्चिम की धरातल पर उतार पाते हैं।